जीरकपुर में लावारिस पशुओं से लोग परेशान,प्रशासन सोया कुम्भकर्णी नींद

रोहित गुप्ता
जीरकपुर 15, अप्रैल
शहर में आवारा पशुओं का आतंक प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है।लावारिस पशुओं की भरमार लोगों के लिए परेशानी का सबब बनती जा रही है। जिक्रयोग है लावारिस पशुओं की चपेट में आने से कई लोग घायल भी हो चुके है। जिसके बाद भी प्रशासन नहीं जागा है। लावारिस पशुओं की वजह से कई बार वाहन चालक सड़क दुर्घटना का शिकार हो चुके हैं। लोगों द्वारा पशुओं को बेवजह ही आवारा छोड़ दिया जाता है, जो सड़कों पर घूमते रहते हैं। यही नहीं कई सड़कों पर गाय और अन्य आवारा पशु बैठे रहते हैं जिसकी वजह से यातायात बाधित हो जाता है। लावारिस पशुओं के कारण हो रही घटनाओं से भी संज्ञान न लेते हुए ज़ीरकपुर में अधिकारियों ने लावारिस पशुओं को सड़कों से हटाने का काम नहीं किया है। लोगों का आरोप है कि यदि नगर कौंसिल के अधिकारी सड़कों से लावारिस पशुओं को हटाने का काम करते भी है तो महज खानापूर्ति कर अपना पल्ला झाड़ लेते है।
शहर में ढकोली, बलटाना, पिरमुछल्ला, पटियाला रोड, बिशनपुरा समेत वीआईपी रोड़ व अंबाला रोड़ समेत शहर की अधिकांश सड़कों पर लावारिस पशुओं का झुंड लोगों को परेशान करता है। दरअसल शहर की सड़क पर घूम रहे लावारिस पशु और कुत्ते दुर्घटनाओं का कारण बनते जा रहे हैं। जिसको लेकर नगर कौंसिल द्वारा कोई योजना नही बनाई जा रही है। कौंसिल लावारिस पशुओं की वजह से होने वाले किसी बड़े हादसे का इंतजार कर रहे है।
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गौ सैस देने के बावजूद भी लावारिस पशुओं की समस्या हुई विकराल ::::
पंजाब में करीब 10 वर्ष पहले अकाली भाजपा सरकार ने लोगों पर गौ सेवा सैस के नाम पर स्टंप ड्यूटी, बिजली, शराब व पट्रोल-डीजल पर भारी टैक्स लगाया था। इस टैक्स से अब भी सरकार रोजाना लाखों-करोड़ों रुपये वसूल कर रही है। गायों के संरक्षण के नाम पर काफी साल से गो-संरक्षण सेस वसूल करने के बावजूद जीरकपुर शहर सहित लगभग पूरे प्रदेश में ही लावारिस पशुओं की समस्या जानलेवा बनी हुई है। इसके समाधान के लिए सरकारी स्तर पर कोई बड़े उपाय नहीं किये जा रहे। माना ये जाता है कि सरकार यह वसूली गौशालाओं के संचालन के लिए देती है। बावजूद इसके गोशालाओं के संचालन के लिए गोशाला संचालक शहर के लोगों के जनसहयोग से पैसा जुटा संचालित कर रहे है। अगर गौ सैस के नाम पर करोड़ों रुपए एकत्रित किया जा रहा है तो गौशालाओं के संचालकों की जिम्मेवारी है कि वे आवारा पशुओं को अपने यहां रखें। बावजूद इसके लावारिस पशु किसानों व आम राहगीरों के बड़ी समस्या बने हुए है। सरकार की ओर से गौ सैस वसूलने के बावजूद भी इन पशुओं के लिए कुछ नहींं किया जा रहा। सरकार पशुओं की संभाल के लिए लोगों टैक्स वसूल रही है सरकार की ओर से इन पशुओं की संभाल के लिए विशेष कदम उठाने चाहिए।
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नगर काउंसिल जीरकपुर के कार्यकारी अधिकारी नहीं उठाते पत्रकारों का फोन ::::
नगर काउंसिल जीरकपुर से संबंधित किसी भी खबर संबंधी नगर कौंसिल जीरकपुर के कार्यकारी अधिकारी का पक्ष लेना अनिवार्य होता है। जिसके लिए जब भी नगर कौंसिल जीरकपुर के कार्यकारी अधिकारी अशोक पथरिया को फोन किया जाता है तो वह अधिकतर बार फोन नहीं उठाते। आज भी आवारा पशु संबंधी पक्ष लेने के लिए जब कार्यकारी अधिकारी अशोक पथरिया को फोन किया तो उन्होंने फोन नहीं उठाया।